नन्हेडा स्कूल के चर्चे पूरे हरियाणा में जिला रेवाडी के विभिन्न स्कूलों के अध्यापकों को नन्हेडा पाठशाला देखने आए
करनाल 8 जून ( पी एस सग्गू)
करनाल जिले के नन्हेडा पाठशाला की सुन्दरता व हरियाली के चर्चे हरियाणा के लगभग सभी स्कूलों में सुने सुनाए जाते हैं । चर्चा में रहने के कारण पैदा हुआ आकर्षण जिला रेवाडी के विभिन्न स्कूलों के छह अध्यापकों को नन्हेडा पाठशाला खींच लाया ।
मंजुल मनोचा प्राध्यापक राजनीति विज्ञान,प्रवीन कुमार प्राध्यापक रसायन विज्ञान ,अध्यापक चन्दन यादव ,धर्मबीर,जसबीर व रामनिवास ने बताया कि सोशल मीडिया के माध्यम से हमने नन्हेडा पाठशाला की खूबीयों का पता चला तो उन्होंने पाठशाला का भ्रमण करने की तीव्र इच्छा पैदा हुई । उन्होंने कहा कि रेवाडी से करनाल जिले की दूरी ज्यादा होने के बावजूद वह अपने कदम रोक नहींं पाए । चन्दन ने बताया कि जैसा हम सोच रहे थे ,पाठशाला का वातावरण उससे कहीं ज्यादा खूबसूरत और जीवंत मिला । उन्होंने कहा कि पहाड़ों के मनोरम दृश्य देखकर भी मन को इतना सूकून नहींं मिलता,जितना नन्हेडा पाठशाला को देखकर मिलता है । उन्होंने बताया कि बहुमुल्य और दुर्लभ प्रजाति के पौधे देखकर वे दंग रह गए । सेब,चन्दन,चीकू,आडू,बादाम,चीड़, आलू बुखारा,रुद्राक्ष,कपूर,लीची,आम, अमरूद,दाल चीनी,निर्गुंडी,शहतूत,संतरा,खू मानी,अंजीर,जामुन,रीठा,शिकाकाई, नाग केसर,चेरी,चकोतरा,मौसमी,निम्बू, कटहल,मालटा,किन्नु,फालसा,हाईब् रीड लसूडा,हरड,बेहडा,आंवला सहित सैंकड़ों प्रकार के पौधे जो अलग-अलग वातावरण में पैदा होते हैं,उन्हें एक जगह देखना किसी चमत्कार देखने से कम नहीं है ।
स्कूल मुखिया महिन्द्र खेडा़ ने बताया नन्हेडा पाठशाला व गांव के लिए यह गौरव की बात है कि विभिन्न शैक्षणिक,प्रशासनिक और सामाजिक संस्थाओं के जुडे़ अधिकारी ,सामाजिक कार्यकर्ता व अध्यापकों का पाठशाला में आना जाना लगा रहता है । उन्होंने कहा कि बाहर से देखने वाले लोगों से उत्साहवर्धन मिलता है और काम करने की शक्ति में बढोतरी होती है । उन्होंने रेवाडी जिला के अध्यापकों का स्वागत किया और पाठशाला की ओर से दो पौधे भेंट किए ।