शिक्षकों की डयूटी परिवार पहचान पत्र में लगाए जाने का पूरे शिक्षकों ने अपना रोष जाहिर करते हुए प्रदर्शन किया।
करनाल 18 मार्च(पी एस सग्गू)
करनाल में बीएलओ शिक्षकों की डयूटी परिवार पहचान पत्र आर्थिक सर्वेक्षण में लगाए जाने का पूरे प्रदेश में विरोध शुरू हो गया है। करनाल में भी शिक्षकों ने अपना रोष जाहिर करते हुए प्रदर्शन किया। जिला सचिवालय तक शिक्षक नारेबाजी करते हुए पहुंचे। जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी के नाम ज्ञापन तहसीलदार को सौंपा गया। अध्यापक नेताओं ने कहा कि कोरोना काल में एक साल तक स्कूल नहीं खुले, जिससे बच्चों की पढ़ाई का नुकसान हुआ। अब भी हालात स्कूल खोलने के नहीं थे, मगर सरकार ने स्कूल खोल दिए। जब शिक्षकों ने बच्चों को पढ़ाने का काम शुरू किया तो विभाग ने शिक्षकों की डयूटी सर्वेक्षण में लगाने का फरमान जारी कर दिया। सरकार शिक्षकों और विद्यार्थियों का नुकसान करने पर तुली हुई है। शिक्षा जगत का अपमान किया जा रहा है। इस मौके पर हरियाणा विद्यालय अध्यापक संघ के जिला प्रधान अनिल शर्मा व राज्य उपप्रधान जगतार सिंह ने कहा कि वर्तमान में भी कोरोना संक्रमण बढ़ता जा रहा है। शिक्षा जरूरी है, इसलिए अध्यापक भी स्कूलों में बच्चों को पढ़ाने के लिए पहुंच रहे हैं। अब सरकार ऐसे हैरान कर देने वाले निर्णय ले रही है, जिससे परेशानियां बढ़ेंगी। उन्होंने कहा कि पीपीपी में आय को प्रमाणित करने का कार्य राजस्व विभाग का है, शिक्षकों का नहीं। अगर विभाग ने फैसला वापस नहीं लिया तो बड़ा आंदोलन किया जाएगा। इस अवसर पर जगदीश सुलतानपुर, दीपक गोस्वामी, शमशेर सिंह, अनिल सैनी, जगतार सिंह, शामलाल शास्त्री, कृष्ण निर्माण, रमेश शर्मा, सुरेश चौधरी, संजय बैनीवाल, संजीव, सुरेंद बरसालू, डा. पवन कुमार, संजय कुमार, पुष्पाल, रोशन गुप्ता, सुशील गुप्ता व महेन्द्र खेड़ा आदि मौजूद रहे।